साझी मानवता- एक आह्वान, कोविड-19 महामारी से सम्बन्धित इन्टरनेशनल नेटवर्क ऑफ इन्गेज्ड बुद्धिस्ट्स का कथन


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इन्टरनेशनल नेटवर्क ऑफ इन्गेज्ड बुद्धिस्ट्स धर्मों तथा आस्थाओं से परे संसार के समस्त लोगों से आह्वान कर रहा है कि कोविड-19 संकट के समय अन्तर्सम्बन्धी जुड़ाव तथा परस्पर निर्भरता की साझी मानवता की प्रकृति को याद कीजिए। ज्ञात स्मरण में वैश्विक स्वास्थ्य पर अब तक की सबसे बड़ी मुसीबत के समय सामाजिक समन्वय को सशक्त तथा निर्मित करने हेतु करूणा व दायित्व को अभिव्यक्त करने का महानतम अवसर है। यद्यपि हमारा दैनिक जीवन अनिश्चितताओं से ग्रसित है तथापि लोगों तक मदद का थोड़ा हाथ बढ़ा कर तथा सामाजिक, सांस्कृतिक, नस्लीय व धार्मिक अनेक विभेदों से परे जा कर हम अपनी करुणा, मैत्री, उदारता व दयालुता प्रदर्शित कर साझी मानवता को खण्डित नहीं रहने दे सकते हैं।

इसी बीच यह भी याद रखना है कि वायरस भेदभाव नहीं करता लेकिन लोग करते हैं, और उससे भी ज्यादा महत्वपूर्ण यह है कि अपनी-अपनी आर्थिक स्थिति, नस्ल, जाति, धर्म, लिंग, नागरिकता अथवा जन्मस्थान के अनुसार भिन्न-भिन्न प्रकार से सब इससे ग्रसित हैं। हम सब महसूस कर रहे हैं कि विश्वव्यापी लाॅकडाउन ने वैश्विक अर्थव्यवस्था में गतिरोध उत्पन्न कर दिया है, और विश्व के लाखों गरीबों तथा हाशिये के लोगों को जोखिम में डाल दिया है, उत्पादन गतिविधियों को ठप कर दिया है जिसके नाते लाखों लोग तंगहाल हो गये हैं।

बौद्ध विचारकों के एक समूह तथा अन्य आस्थाओं व सामाजिक कार्यकर्ताओं के द्वारा वर्ष 1989 में श्यामदेश, थाईलैंड को मुख्यालय बना कर इन्टरनेशनल नेटवर्क ऑफ इन्गेज्ड बुद्धिस्ट्स- आईएनइबी- की स्थापना हुई है। एक स्वस्थ, न्यायाधारित व शान्ति प्रिय दुनिया की स्थापना के लिए आईएनइबी की परिकल्पना, अभियान और गतिविधियाँ बौद्ध सिद्धान्तों का सामाजिक गतिविधियों के साथ एकीकरण करती है।

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आईएनइबी सभी सरकारों से किसी भी प्रकार के भेदभाव के अभ्यासों तथा प्रथकतावाद को विराम देने का और हमारी साझी मानवता के लिए प्रत्येक समुदाय को आवश्यक सहारा प्रदान करने का आह्वान करती है। आईएनइबी राहत संस्थाओं से राहत सामग्रियों को समभाव से वितरित करने तथा नस्ल, जाति, धर्म, नागरिकता अथवा जन्मस्थान व लैंगिकता के आधार पर भेदभाव नहीं करने का आह्वान करती है। साथ ही साथ, आईएनइबी साम्प्रदायिक सद्भाव बनाए रखने और धरती के मानवमात्र के प्रति मैत्री व्यक्त करने का आह्वान करती है।

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आईएनइबी विशेषरूप से प्रेरित है:

• उन समस्त नीतियों को समाप्त कर देने के लिए जो अतिसंवेदनशील और हाशिये के समूहों का उत्पीड़न करती हैं और उन कार्यों को प्रोत्साहित करने के लिए जो इन समूहों को तत्काल एवं दीर्घकालिक राहत प्रदान करे।
• आईएनइबी के नेटवर्क में सर्वाधिक प्रभावित देशों की सहायता के लिए एक आपात राहत कोष की स्थापना करना।
• कोविड-19 बीत जाने के बाद की अधिक न्यायी तथा करुणामय दुनिया के लिए लम्बे समय तक निरन्तरता वाली एक दीर्घकालिक योजना बनाना।

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कृपया आईएनइबी के वेबसाईट/नेट सम्पर्क देखिये: http://inebnetwork.org/ or https://www.facebook.com/INEB.BuddhistNetwork/

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